कर्नापीड़ासन के फायदे – यह कहना बिल्कुल गलत नहीं होगा कि योगा हमारे शरीर को स्वस्थ्य रखने का सबसे आसान मूल मंत्र है। अगर आप नियमित रूप से रोजाना थोड़ा सा समय निकाल कर योग कर रहे हैं तो आपका लम्बे समय तक जवां और स्वस्थ रहेंगे। इस आर्टिकल के माध्यम से आपको ऐसे ही एक योगासन के बारे में जानने को मिलेगा जिसका नाम है कर्नापीड़ासन – यह शरीर के विभिन्न रोगों से निजात दिलाने में मदद करता है। आगे पढ़ें कर्नापीड़ासन के बारे में सबकुछ…
विषय सूची
कर्नापीड़ासन क्या है – What Is Karnapidasana in Hindi
कर्नापीड़ासन – जैसा कि नाम से ही पता चल रहा है कि यह कान से संबंधित कोई आसन है। यह तीन शब्दों से मिलकर बना है – ‘कर्ण’ जिसका मतलब है कान, ‘पीड़ा’ जिसका मतलब है दबाव और ‘आसन’ जिसका मतलब है मुद्रा। कर्णापीड़ासन को विभिन्न नामों से जाना जाता है जैसे राजा हलासन, Knee to Ear Pose और Ear Pressure Pose इत्यादि…आर्टिकल में आगे पढ़ें कर्नापीड़ासन कैसे करते हैं।
कर्नापीड़ासन करने का तरीका – How to do Karnapidasana in Hindi
वैसे तो कोई भी आसान, योग या Exercise हमेशा किसी न किसी Expert की देखरेख में ही करना चाहिये लेकिन अगर आप निरंतर रूप से योग करते हैं तो इस कर्नापीड़ासन को थोड़ा प्रयास करने के बाद आसानी से कर सकते हैं। आगे पढ़िये कर्नापीड़ासन कैसे करते हैं…
- कोई भी आसान हमेशा समतल स्थान पर करना चाहिये इसलिये किसी समतल स्थान पर बिछौना या Yoga Mat बिछा लें।
- अब इस मैट पर पीठ के बल लेट जाएं।
- लेटते समय दोनों हाथों और पैरों को एकदम सीधा रखें।
- फिर गहरी सांस लें और पैरों को धीरे-धीरे ऊपर उठाते हुए सिर के पीछे ले जाने की कोशिश करें।
- इस दौरान आपके शरीर का पूरा भार कंधों पर रहेगा हाथ पहले की तरह जमीन पर सीधे रखें।
- इस स्थिति को हलासन कहते हैं।
- अब अपने दोनों पैरों को घुटनों से मोड़ लें।
- दोनाें घुटनों को मोड़ने के बाद कानों के पास ले आएं जिससे दोनों कान घुटनों से ढक जाएं।
- इस स्थिति में आप अपनी नजर नाक पर रखें।
- अब कुछ देर इसी अवस्था में रहें और सामान्य गति से सांस लेते रहें।
- अब धीरे धीरे सांस छोड़ने के साथ आसन को उल्टा करते हुए शुरुआती स्थिति में आएं।
- कई बार प्रयास करने के बाद आप इसे आसानी से कर सकते हैं।
- अपनी क्षमता के अनुसार 60 से 90 सेकेंड तक इस मुद्रा में रहें सकते हैं।
- हालांकि शुरुआत में आसान को कम देर लगभग 30 सेकेंड तक ही करें। फिर धीरे धीरे समय बढ़ायें।
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कर्नापीड़ासन करने के टिप्स – Tips for Karnapidasana in Hindi
अगर आप पहली बार यह आसन कर रहे हैं तो आप ये निम्न उपाय कर सकते हैं जिससे आसन करने में आसानी हो जाएगी…
- Karnapidasana करते समय कंधों के नीचे एक तौलिया लगा लें। इससे कंधों को नुकसान नहीं होगा गर्दन को आराम मिलेगा।
- अगर आपको पूरी तरह वापिस मुड़ने में कठिनाई हो तो पैरों को एक योगा ब्लॉक पर टिका सकते हैं।
- इसके अलावा पैरों को किसी कुर्सी पर भी टिका सकते हैं।
- घुटनों को कान तक ला पाने में कठिनाई हो रही है तो ज्यादा दबाव न बनाएं।
- अपनी क्षमतानुसार आसान करें।
कर्नापीड़ासन करने के फायदे हैं लेकिन इसे बिना किसी प्रैक्टिस, Warmup के बिना नहीं करते हैं तो शरीर में परेशानी हो सकती है। इसलिये कर्नापीड़ासन करने से पहले निम्न आसान कर लेने से आसानी हो जाती है। इससे आपकी हॅम्स्ट्रिंग, कूल्हे, और जांघे पर्याप्त मात्रा में खुल जाएँगे।
- बालासन (Balasana or Child’s Pose)
- सेतुबंधासन (Setu Bandahasana or Bridge Pose)
- वीरासन (Virasana or Hero Pose)
- सर्वांगासन (Savangasana or Shoulderstand)
- हलासन (Halasana or Plow Pose)
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आगे पढ़िये कर्नापीड़ासन के फायदे…
कर्नापीड़ासन के फायदे – Karnapidasana Benefits in Hindi
यह योगासन कुछ हद तक हलासन के समान होता है। कर्नापीड़ासन योग करने से शरीर को लचीला होता है, शारीरिक संतुलन बढ़ता है। आगे पढ़िये कर्नापीड़ासन के फायदे (Karnapidasana Benefits in Hindi) विस्तार से…
1. रीढ़ की हड्डी को मजबूत बनाने में कर्नापीड़ासन के फायदे – Karnapidasana Benefits in Hindi for Backbone
कर्नापीड़ासन करने से कंधे और रीढ़ की हड्डी में खिंचाव पैदा होता है जिससे यह लचीली, मजबूत व स्वस्थ रहती है। इसके अलावा पीठ व इसके आसपास के हिस्सों में दर्द व अकड़न में कर्नापीड़ासन करने के फायदे मिलते हैं।
2. पाचन संबंधी समस्याओं में कर्नापीड़ासन करने के फायदे – Benefits of Karnapidasana in Hindi
कर्नापीड़ासन करने से पेट की विभिन्न समस्याओं से आराम मिलता है। यह पाचन तंत्र में सुधार करके कब्ज व पेट की अन्य कई बीमारियों से निजात दिल सकता है(1)। इसके अलावा यह पेट के अंगों और थायराइड ग्रंथि को उत्तेजित करता है।
3. कर्नापीड़ासन के फायदे शरीर को मजबूत बनाने में – Karnapidasana Benefits in Hindi
कर्नापीड़ासन करने से शरीर को मजबूती व लचीलापव मिल सकता है। शरीर को मजबूती का तात्पर्य शरीर के स्वास्थ्य से भी है इसलिये बता दें कि कर्नापीड़ासन करने से पेट दर्द, मधुमेह, पीठ में दर्द, सिर दर्द, बांझपन, अनिद्रा, साइनसाइटिस और रेनल डिसऑर्डर जैसी समस्या को भी दूर रखा जा सकता है(2)।
4. मानसिक समस्याओं में कर्नापीड़ासन करने के फायदे – Karnapidasana Benefits in Hindi
कर्नापीड़ासन करने के दौरान होने वाली श्वसन क्रिया से मन शांत होता है, जिससे तनाव से मुक्ति मिल सकती है। इसके अलावा इससे थकान, चिंता, डिप्रेशन भी दूर होता है।
5. इन समस्याओं में भी कर्नापीड़ासन के फायदे
कर्नापीड़ासन करने से शरीर में रक्त का संचार बढ़ जाता है व शरीर में खिंचावट होती है जिससे बालों का झड़ना बंद, बाल काले होते हैं, चेहरे पर चमक आती है,आंखों की रोशनी बढ़ती है व नाक, कान की समस्याओं को दूर करने में मदद मिलती है।
किन लोगों को कर्नापीड़ासन नहीं करना चाहिये
- अगर किसी के पेट में कोई समस्या या हाल ही में कोई सर्जरी हुई है, तो इस आसन को करने से बचना चाहिये।
- सिरदर्द या गर्दन की चोट में यह आसान न करें।
- उच्च रक्तचाप के मरीजों को यह आसन नहीं करना चाहिए।
- माहवारी व गर्भावस्था के दौरान इस आसन को न करें।
- जिन लोगों को कान दर्द, गर्दन दर्द, स्लिप डिस्क, सर्वाइकल स्पॉन्डिलाइटिस, उच्च रक्तचाप, लीवर या लमबर की तकलीफ हो उन्हें यह आसन नहीं करना चाहिये।
अधिकतर पूछे जाने वाले सवाल – FAQ
कर्नापीड़ासन से कौन सा रोग दूर होता है?
इससे तनाव, चिंता, रीढ़ की हड्डी की समस्या दूर होती है।
संदर्भ
1. Yoga Practical Notes-II – https://www.researchgate.net/publication/237082865_Yoga_Practical_Notes-II
2. Yoga for Children – https://www.academia.edu/34347009/Yoga_for_Children